छत्रपति शिवाजी महाराज बहादुरी, रणनीति और प्रशासनिक कौशल के लिए प्रख्यात थे: डॉ नोव्हील ब्राह्मणकर

      लोकशाही एक्सप्रेस गोंदिया 
स्थानीय ब्राह्मणकर हॉस्पिटल में झाड़े कुणबी समाज के पदाधिकारियों द्वारा  बुधवार को  छत्रपति शिवाजी महाराज की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर बड़े उत्साह के साथ जयंती मनाई गई। इस अवसर पर डॉ नोव्हील ब्राह्मणकर ने कहा कि छत्रपति शिवाजी महाराज अपनी बहादुरी, रणनीति और प्रशासनिक कौशल के लिए प्रख्यात थे। उन्होंने हमेशा स्वराज्य और मराठा विरासत पर ध्यान केंद्रित किया था। शिवाजी महाराज, शाहजी भोंसले, जीजाबाई के पुत्र थे। उन्हें पूना में उनकी माँ और दादा जी कोंडदेव की देखरेख में पाला गया। जिन्होंने उन्हें एक विशेषज्ञ सैनिक और एक कुशल प्रशासक बनाया । 17वीं  सदी की शुरुआत में नए योद्धा वर्ग मराठों का उदय हुआ, जब पूना जिले के भोंसले परिवार को सैन्य के साथ-साथ अहमदनगर साम्राज्य का राजनीतिक लाभ मिला था। भोंसले ने अपनी सेनाओं में बड़ी संख्या में मराठा सरदारों और सैनिकों की भर्ती की थी, जिसके कारण उनकी सेना में बहुत अच्छे लड़ाके सैनिक हो गये थे। इस मौके पर झाड़े कुणबी समाज के सचिव नीलेश चुटे,राजेश हुकरे, सुजता बहेकार, मीना पाथोडे,संजय चुटे,सुरेंद्र वाढ़ई,नरेंद्र पाथोडे ब्राह्मणकर हॉस्पिटल के राजेश राणे, डॉ प्रणय अकरे,अजय गौतम, काजल बिसेन,आकांक्षा ,काजल चौहान,खुश्बू ठाकरे, कार्तिक मस्कारे,सेवक बांते, पिर्ति पांधरे,लीना नागरिकर आदि उपस्थित थे ।